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स्वरांगी साने, पुणे
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संजय महाजन : सृजनात्मकता की चरैवेति
हर सिक्के के दो पहलू होते हैं, हर घटना के साथ सकारात्मकता और नकारात्मकता जुड़ी होती है यह आप पर निर्भर करता है कि आप...
ईश्वर की अटरिया पर सविता ताई…
‘अँसुवन जल सींची-सींची प्रेम बेली बोई…’ मीरा का पद है, प्रेम की बेल को आँसुओं के जल से सींचा जाता है लेकिन जहाँ गुरू-शिष्य का...
गुरू बिन ज्ञान – कुछ ठोस कदम उठाने की सख्त आवश्यकता
‘गुरू बिन ज्ञान कहाँ से पाऊँ’… बैजू बावरा के इस गीत को गुनगुनाते हुए लगा कि आज के दौर में यह कितना सटीक है, है...
‘माधुरी जी आप बॉलीवुड डांस सिखाइए, कथक नहीं’
‘माधुरीजी आप बॉलीवुड डांस सिखाइए, कथक नहीं’ सिने जगत् की जानीमानी अदाकारा माधुरी दीक्षित को यह दो टूक राय दी है कथक नृत्यांगना एवं गुरु...
विश्व नृत्य दिवस: कैसा होगा कोरोना पश्चात् नृत्य विश्व ?
कला का उद्भव, विकास होने के बाद जब-जब लगा है कि कला का पतन होने को है, तब-तब कला नए रास्ते खोजकर फिर उद्भव से...
शास्त्रीय संगीत में होता है लगाव, न कि अलगाव
बार-बार यह सवाल उठता रहा है कि कला का असली मकसद क्या है? कला को कला के लिए होना चाहिए या कला का उद्देश्य समाज...
संगीत और नृत्य के क्षेत्र के आठ-आठ कलाकारों को उस्ताद बिस्मिल्ला खाँ युवा पुरस्कार
कला प्रदर्शन के शीर्ष निकाय के रूप में संगीत, नृत्य और नाटक की राष्ट्रीय अकादमी, संगीत नाटक अकादमी को देखा जाता है। अकादमी की 26...
अब मैं नाच्यो बहुत गोपाल
मैंने कथक सीखा उसी जतन से जिस जतन से कोई किसी भी कला फ़ॉर्म को सीखता है लेकिन वो मुझसे छूट गया वैसे ही जैसे...
साधना अकेले बैठकर ही करनी पड़ती है, जन समुदाय के बीच तो मेला लगता है
अ-अनार का, आ-आम का, इ-इमली की, ई-ईख की… बिल्कुल बच्चा जिस तरह से बारहखड़ी सीखता है आम लोगों के बीच, वैसे ही और उतना ही...
कथक में ‘करियर’ करना है या कथक करना है?
किसी भी बड़े कलाकार की प्रस्तुति देखने जाते हैं तो आप प्रस्तुति देखते हैं या उसकी डिग्री? परफॉर्मिंग आर्ट तो रियाज़ माँगती है, डिग्री उसके...